कई महिला सैन्य अधिकारियों को रिटायरमेंट के एक साल बाद भी नहीं मिली पेंशन
नई दिल्ली, प्रेट्र। भारतीय सेना की शार्ट सर्विस कमीशन वाली की करीब 15 महिला अधिकारियों को 20 साल से अधिक की सेवा के बाद रिटायर के करीब एक साल बाद भी पेंशन नहीं मिली है। फरवरी 2020 में सुप्रीम कोर्ट के एक आदेश के बावजूद इन महिला अधिकारियों को पेंशन नहीं मिली है। कोर्ट ने इन महिला अधिकारियों को पेंशन लाभ देने का मार्ग प्रशस्त किया था। इस संबंध में रक्षा मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि इस मुद्दे को सुलझा लिया गया है। महिला अधिकारियों को जल्द ही पेंशन मिल जाएगी।
कोर्ट ने 20 साल के सेवा कार्यकाल वाली महिला अधिकारियों को पेंशन लाभ देने का रास्ता साफ किया था। इस बारे में पूछे जाने पर रक्षा मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि इस मुद्दे को सुलझा लिया गया है और पूर्व महिला अधिकारियों को जल्द ही पेंशन मिल जाएगी।
डीईएसडब्ल्यू ने अदालत के आदेश का हवाला देते हुए कहा कि 20 साल से अधिक की सेवा वाली एसएससी महिला अधिकारी पेंशन लाभ के लिए पात्र हैं। डीईएसडब्ल्यू ने पत्र में कहा है, ‘सीजीडीए से अनुरोध है कि कृपया मामले पर गौर करें और न्यायालय के आदेशों का पालन करें तथा उन सभी पात्र महिला शॉर्ट सर्विस कमीशन अधिकारियों को पेंशन लाभ प्रदान किया जा सकता है जो न्यायालय के आदेश के दायरे में आती हैं।’
लोगों ने बताया कि यह समस्या स्पर्श नामक एक नई आनलाइन पेंशन वितरण प्रणाली के कारण उत्पन्न हुई जिसे पिछले साल लांच किया गया है। इलाहाबाद में मुख्यालय रक्षा लेखा (पेंशन) (पीसीडीए-पी) के प्रधान नियंत्रक नई प्रणाली को संभालते हैं। दो महिला अधिकारियों के रक्षा मंत्रालय के पूर्व सैनिक कल्याण विभाग (DESW) के समक्ष इस मामले को उठाए जाने के बाद विभाग ने सोमवार को रक्षा लेखा महानियंत्रक (CGDA) को एक पत्र भेजा। इसमें महिला अधिकारियों के लिए स्थायी कमीशन प्रदान करने के सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला दिया गया। यह महिला अधिकारियों को परमानेंट कमीशन देने के संबंध में था। पीसीडीए (पी) सीजीडीए के प्रशासनिक नियंत्रण में आता है। डीईएसडब्ल्यू ने अदालत के आदेश का हवाला देते हुए कहा कि 20 साल से अधिक की सेवा वाली एसएससी महिला अधिकारी पेंशन लाभ के लिए पात्र हैं।