मैलहन झील में वरुणा उदगम स्थल का सर्वेक्षण डेनमार्क की टीम ने किया।
फूलपुर। मैलहन झील से निकली वरुणा नदी जो प्रयागराज भदोही वाराणसी के कई गांव से होती हुई अस्सी घाट वाराणसी में गिरती है और गंगा नदी में समाहित हो जाती है। इस पौराणिक नदी की उत्पत्ति हेतु कई गांव के लोगों ने मैलहन झील में बहुत बड़ा यज्ञ किया था। कथित रूप से तब वरुणा की उत्पत्ति हुई। इसी के नाम पर फूलपुर जौनपुर मार्ग पर बरुणा बाजार और वहीं पर वरुणेश्वर महादेव का मंदिर बना जो आस्था का केंद्र है। हर वर्ष मेला लगने लगा। अब वर्तमान सरकार ने वर्ष 2008 में तत्कालीन कमिश्नर द्वारा मैलहन झील के सुंदरीकरण और मैलहन से बनारस तक नदी की खुदाई व सफाई का जो खाका दर्जनों गांव के प्रतिनिधियों के बीच बैठकर तैयार किया था वह अब साकार होने को है। प्रदेश सरकार की पहल पर वर्षों से इस का सर्वेक्षण चल रहा है। अभी छ: माह पहले इजराइल की टीम ने आकर सर्वे सिंचाई विभाग के अधिकारियों के साथ किया था। अब बीती शाम बुधवार को डेनमार्क यूरोप की टीम ने शिशिर गौर प्रोफेसर आई आई टी वाराणसी की टीम तथा डेनमार्क यूरोप की टीम द्वारा संयुक्त रूप से वाराणसी से मैलहन के उदगम स्थल तक सिंचाई विभाग के अधिकारियों के साथ पूरे प्रोजेक्ट का सर्वेक्षण किया। प्रयागराज शारदा सहायक खंड 39 के सहायक अभियंता बसंत लाल अपनी टीम के साथ लगे रहे और प्रोजेक्ट की पूरी जानकारी आए हुए अतिथियों को दी।