इलाहाबाद हाईकोर्ट ने निर्दोष लोगों को रेप के फर्जी मुकदमे में फंसाकर ब्लैकमेल करने वाले गोरखपुर के एक रैकेट की सीबीआई जांच का आदेश दिया है। हाईकोर्ट ने इससे पूर्व प्रयागराज में लोगों को रेप के फर्जी मुकदमे में फंसाकर ब्लैकमेल करने वाले गिरोह की सीबीआई जांच का आदेश दिया था। कोर्ट ने दोनों मामलों को साथ कर दिया है और उनकी एकसाथ सुनवाई करने को कहा है।
प्रयागराज के एक मामले में हाईकोर्ट ने गत 18 अगस्त को सीबीआई जांच का आदेश दिया था। इसमें एक ही शिकायतकर्ता की ओर से लगभग 50 लोगों के खिलाफ रेप का मुकदमा दर्ज कराया गया था। पता चला कि एक गिरोह सुनियोजित तरीके से इसे अंजाम दे रहा है। गिरोह में कुछ वकीलों के भी शामिल होने की बात सामने आई थी। फर्जी रेप केस में महिलाएं लोगों पर रेप का आरोप लगाकर उन्हें ब्लैकमेल कर पैसे हड़पने की कोशिश करती। इस गैंग में कई महिलाओं के साथ अन्य भी शामिल हैं। साथ ही कई लोगों को अश्लील चैटिंग और वीडियो के जरिए पैसे ऐंठने के लिए भी ब्लैकमेल किया जा रहा था।
प्रयागराज के साथ होगी गोरखपुर मामले की सुनवाई
इलाहाबाद हाईकोर्ट में मंगलवार को प्रयागराज के एक मामले की सुनवाई के दौरान अधिवक्ता ने कोर्ट के सामने गोरखपुर के एक प्रकरण का जिक्र किया। गोरखपुर की ऐसी दो महिलाओं के बारे में जानकारी देते हुए आरोप लगाया कि वे लोगों को रेप के फर्जी मुकदमे में फंसाकर ब्लैकमेल करती हैं। इसके बाद कोर्ट ने इस मामले को भी प्रयागराज के मामले से संबद्ध करते हुए सीबीआई को निर्देश दिया कि प्रकरण की जांच कर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करे।